अधिकारियों की करनी फेर रही प्रधानमंत्री के स्वप्न पर पानी बनी कोडर ब्लाॅक में स्वच्छता अभियान कागजों में मात्र

रामसनेहीघाट, बाराबंकी। भले ही भारत सरकार एवं प्रदेश सरकार स्वच्छता अभियान के अंतर्गत करोड़ों रुपए खर्च कर प्रदेश के सभी जनपदों को स्वच्छ बनाने के लिऐ दिन रात एक किए हो संबंधित अधिकारियों एवं कर्मचारियों को स्वच्छता अभियान के प्रति निर्देश दिए जा रहे हो, फिर भी बाराबंकी जिले के ब्लाक बनीकोडर में कुछ और ही देखने को मिल रहा है।
 प्रधानमंत्री मोदी का सपना बाराबंकी जिले के बनीकोडर ब्लाक में अधिकांश क्षेत्र में अधिकारियों के उदासीन रवैये के कारण धरातल पर पूरा होता नहीं नजर आ रहा है विकास खंड बनीकोडर की ग्राम पंचायत दिलौना की स्थिति जगह जगह देखने को मिलती है यहां पर एक दर्जन से अधिक अर्ध निर्मित शौचालय पड़े हुए हैं पंचायत सेक्रेट्री चंद शेखर वर्मा इस पर कोई अमल न करके मामले को नजरअंदाज कर रहे हैं शौचालय लाभार्थियों में रामचरण राम तीरथ राम मनोहर राज बहादुर हनुमान प्रसाद लक्ष्मी नारायण श्रीपाल रामपाल करन आदि लगभग 20 लोगों के अर्ध निर्मित शौचालय पिछले 4 महीने से पड़े हुए हैं जिसकी लाभार्थियों द्वारा कई बार ब्लॉक में संबंधित अधिकारियों को शिकायत की जा चुकी है फिर भी शिकायत को जिम्मेदार अधिकारी व कर्मचारियों द्वारा कोई संज्ञान नहीं लिया जा रहा है। ग्रामीणों द्वारा यह भी बताया जा रहा है। ग्राम सभा में लगभग 500 शौचालय जो अधूरे पड़े हुए हैं। कागजी कोरम पूरा करके चर्चित पंचायत सिकरेट्री चन्द्रशेखर वर्मा ने सरकारी धन अवमुक्त कर चुका है।
 इसी क्रम असेना में 70 फीसदी शौचालय अधूरे पड़े हुए हैं यहां पर तैनात ग्राम विकास अधिकारी सुरेश यादव द्वारा मामले में पूरी तरह उदासीनता बरती जा रही है जबकि स्वच्छ भारत अभियान के तहत लापरवाही करने वाले कर्मचारियों पर शिकंजा कसे जाने के बात हवा हवाई दिख रही है साथ ही ग्राम पंचायत लालपुर राजपुर के सहादत गंज में नवनिर्मित आंगनवाड़ी भवन में जहां मानक के अनुरूप कार्यदाई संस्था द्वारा निर्माण ना करा कर  मानक के विपरीत घटिया सामग्री से निर्माण किया जाना प्रत्यक्ष है यहां तक कि इतना बड़ा भवन खंडे करने में कार्यदाई संस्था ने नींव की मजबूती से ना भरवा कर जमीन के ऊपर से चुनाई शुरू कर घटिया निर्माण करा कर सरकारी धन अवमुक्त करने में अग्रसर रहें जिसकी शिकायत संबंधित ग्राम वासियों द्वारा मुख्य विकास अधिकारी से किया जाना बताया गया है स्वच्छ के भारत अभियान में लगभग सभी ग्राम पंचायत सभी स्थानों पर मानक के विपरीत काम कराया जाना प्रत्यक्ष दिख रहा है। फिर भी उच्चाधिकारियों द्वारा इस पर कोई अंकुश लगाने की जहमत नहीं उठाई जा रही है। यहां तक कि खंड विकास अधिकारी द्वारा क्षेत्र की जनता की समस्या सुनना गवारा नहीं कर रहे तथा जनप्रतिनिधि व क्षेत्रवासियों की फोन तक नहीं रिसीव किया जाता है जिससे साफ जाहिर है कि मनमाने ढंग से योगीराज में इन भ्रष्ट अधिकारियों का जंगलराज पूरी तरह कायम है। 
सूत्रों की मिली जानकारी इन ब्लॉकों में अधिकांश ग्राम पंचायतों में ग्रामीणों की शिकायत पत्र उच्चाधिकारियों को देने के बाद कुछ भ्रष्ट अधिकारी जांच के लिए जाते हैं वह भी प्रधानों से मोटी रकम लेकर कागजों पर ही जांच पूरी करके वापस आ जाते हैं अब ऐसे में गरीब परिवार पहले की तरह अभी भी इस सशक्त सरकार में भी झोपड़ी में ही अपना गुजर-बसर कर रहा है वर्तमान समय में अर्ध र्निमाण चार माह से पड़े दिलौना ग्राम सभा भगवानपुर में बनाए गये शौचालय पीली ईट घटिया मसाला बनाकर निर्माण करने में सक्रियता दिखाई है। वहीं एडीओ पंचायत तथा वीडियो द्वारा कोई भी जानकारी लेने के लिए फोन लगाने पर उनका फोन पर प्रत्येक समय स्विच ऑफ बताता है या अधिकारी अपने निजी व्यक्तिगत फोन रख कर ही बात करते है।ं किसी की शिकायत पर कोई कार्रवाई करने की जहमत नहीं उठा रहे हैं जिससे भ्रष्टाचार को पूरी तरह बढ़ावा मिल रहा है वहीं सूत्रों की मानें तो खंड विकास अधिकारी व सहायक खंड विकास अधिकारी जनता जनार्दन के लिए कार्यालय में बैठकर उनकी जन समस्याएं सुनने का समय कार्य दिवस में नहीं रहते हैं जिससे ग्राम सभाओं की जनता में काफी आक्रोश व्याप्त है।